बदहजमी/अम्ल/गैस
कारण
- खा
- चिंता ( anxiety )
- लगातार व्रत
- मसालों से भरा आहार ( food ) का ज्यादा सेवन
- पीड़ा निरोधक एंटीबायोटिक्स ( antibiotics ) अम्लता ( खट्टापन ) का कारण बन सकते हैं
लक्षण
- ऊपरी आमाशय में आकुलता ( बेचैनी )
- आमाशय पीड़ा और परिपूर्णता की मनोवृत्ति
- उल्टी
- मतली के एपिसोड
- स्वेलिंग की अनुभूति
मोटापा
कारण
- पारिवारिक जीवन शैली और आनुवंशिक कारण
- थायरॉइड ( thyroid ) से रिलेटेड प्रोब्लेम्स
- स्त्रियों में पॉलीसिस्टिक डिम्बग्रंथि बीमारी
- गतिहीन लत ( habit ) जैसे पर्यावरणीय कारक
- बहुत आहार ( food ) (बुलिमिया)
लक्षण
- सांस लेने में मुसीबत
- ज्यादा भार के कारण चलने में मुसीबत
- मांसपेशियों ( muscles ) और सब के सब जॉइंट्स के पीड़ा
- भार बढ़ने से हृदय की समस्या
खालित्य और गंजा पैच
कारण
- हार्मोनल ( hormonal ) परिवर्तन
- ऋतु का परिवर्तन
- प्रदूषण के कांटेक्ट में
- पुष्टिकारक तत्वों की अभाव
- बालों ( hair ) की सही देखरेख और आहार-पोषण का अभाव
- बहुत भावनात्मक या दैहिक तनाव
- फैमिली के हिस्ट्री
लक्षण
- पूरे मस्तिष्क पर बालों ( hair ) का पतला होना
- माथे के आस-पास गंजेपन के धब्बे
- गुच्छों में बाल झड़ते हैं
- बालों ( hair ) के झड़ने के साथ सरदर्द
- अवधि ( समय ) से पहले धूसर होना
Name | डाबर चित्रक हरीतकी (250 ग्राम) |
---|---|
Brand | डाबर |
MRP | ₹ 326 |
Category | आयुर्वेद ( ayurveda ), चूर्ण, अवलेहा और पाकी |
Sizes | 100 ग्राम, 250 ग्राम |
Prescription Required | No |
Length | 5 सेंटिमीटर |
Width | 5 सेंटिमीटर |
Height | 10.5 सेंटिमीटर |
Weight | 146 ग्राम |
Diseases | बदहजमी/अम्ल/गैस, मोटापा, खालित्य और गंजा पैच |
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डाबर चित्रक हरिताकी के बारे में
चित्रक हरीतकी एक बहुत प्रसिद्ध आयुर्वेदिक दवा है जिसका इस्तेमाल क्रोनिक श्वसन ( respiration ) परिस्थितियों के ट्रीटमेंट ( treatment ) में किया जाता है। यह हर्बल जैम के रूप में है। इसे चित्रक हरीतकी अवलेह, चित्रक हरीतकी आदि के नाम से भी जाना जाता है।
अवलेहा का सजेशन ( suggestion ) है कि यह एक हर्बल जैम है। चित्रक और हरीतकी दो जड़ी-बूटियाँ हैं, जो इस उत्पाद ( product ) की प्रमुख मटेरियल हैं।
डाबर चित्रक हरिताकी के इशारा
- बारम्बार होनेवाला साधारण शीत - जब नाक में रुकावट या नाक से डिस्चार्ज गाढ़ा हो जाता है, लेकिन फिर भी श्वेत कलर का होता है
- श्वेत गाढ़े श्लेष्मा वाली कफ (जब बड़ी मात्रा ( quantity ) में श्लेष्मा का उत्पत्ति और थूक चिपचिपा और बादलदार हो)
- पुराने ( chronic ) ब्रोंकाइटिस ( श्वसनीशोथ ) - बहुत श्लेष्मा का उत्पत्ति, जो गाढ़ा और श्वेत कलर का होता है
- पुराने ( chronic ) साइनसिसिस - गाढ़े श्वेत निर्वहन का जल निकासी, जो अभी तक पीला या हरा नहीं हुआ है
- भूख में अभाव
- आमाशय फूलना
- आंतों की गैस
- आमाशय फूलना
प्रमुख बिमारियों में चित्रक हरीतकी का इस्तेमाल कैसे करें, यह जानने के लिए यहां कुछ जरूरी बिंदु दिए गए हैं।
- बारम्बार होनेवाला साधारण शीत
चित्रक हरीतकी तब काम करती है जब श्लेष्मा का डिस्चार्ज गाढ़ा हो जाता है, लेकिन श्लेष्मा की मात्रा ( quantity ) का कलर अभी भी श्वेत होता है। यदि श्लेष्मा डिस्चार्ज का कलर पीला या हरा हो जाता है, तो वासा (अधतोदा वासिका), जैसे वासवलेह और वासा के पत्तों का जूस ज्यादा लाभकारी और सुरक्षित होता है।
- लाभदायक कफ
चित्रक हरीतकी तब लाभकारी होती है जब फेफड़ों में ज्यादा मात्रा ( quantity ) में श्लेष्मा बनता है, लेकिन जब यह साफ, श्वेत और गाढ़ा हो। यद्यपि, अगर कफ, बलगम पीले-हरे कलर का है, तो यह चेस्ट में इनफ़ेक्शन और जीवाणु के बढ़ने का इशारा देता है, इसलिए ऐसे स्थितियों में सितोपलादि चूर्ण, गंधक केमिकल, श्रृंग भस्म और वसावलेह या वासा के पत्तों का जूस ज्यादा मददगार होता है।
- पुराने ( chronic ) ब्रोंकाइटिस ( श्वसनीशोथ )
वही सिद्धांत पुराने ( chronic ) ब्रोंकाइटिस ( श्वसनीशोथ ) में लागू होता है जिसकी चर्चा हमने उत्पादक कफ में की है। ब्रोंकाइटिस ( श्वसनीशोथ ) में, यह उत्पादक कफ से आराम देने के अतिरिक्त स्वेलिंग को कम करने में भी मददगार होता है। फिर से पीले-हरे कलर के कफ, बलगम जैसे इनफ़ेक्शन के कोई लक्षण ( symptom ) होने पर इसका उपयोग नहीं करना चाहिए। यह केवल तभी सहायता करेगा जब मरीज को श्लेष्मा के उत्पत्ति को रोकने की जरूरत हो और श्लेष्मा की मात्रा ( quantity ) श्वेत और मोटी हो।
- क्रोनिक साइनोसाइटिस
गाढ़ा और श्वेत जल निकलने पर चित्रक हरीतकी सहायक होती है। यह नाक के साथ-साथ कंठनली के पिछले हिस्से से निकलने वाले डिस्चार्ज को कम करता है। इसके अतिरिक्त, यह सांस लेने में इम्प्रूवमेंट और नाक की रुकावट को कम करने में भी मददगार है। यह स्मेल और स्वाद ( taste ) की मनोवृत्ति में भी इम्प्रूवमेंट करता है।
डाबर चित्रक हरीतकी की मटेरियल
- चित्रका-प्लंबगो ज़ेलेनिका,
- अमला
- गुडुची-टिनोस्पोरा कॉर्डिफोलिया
- Dashamoola
- गुड़
- हरीतकी-टर्मिनलिया चेबुला।
- त्रिकटु - काली मिर्च,
- लंबी मिर्च
- जिंजर ( ginger )
- दालचीनी
- Patra–Cinnamomum tamala
- Yavakshara
- मधु
डाबर चित्रक हरीतकी की डोज़
- बच्चे-रिकमंडेड नहीं
- बच्चे-2 ग्राम (1/3 चम्मच ( spoon ))
- वयस्क- 2.5 से 5 ग्राम (1/2 से 1 चम्मच ( spoon ))
- प्रेग्नेंसी ( pregnency )-प्रेग्नेंट
- जराचिकित्सा (वृद्धावस्था) -2 ग्राम (1/3 चम्मच।)
- ज़्यादा से ज़्यादा मुमकिन डोज़ - प्रति दिन या 24 घंटे में - 10 ग्राम (2 चम्मच ( spoon )) - खंडित मात्रा ( quantity ) में।
डाबर चित्रक हरिताकी की सतर्कता
- इस औषधि की स्व-औषधि की परामर्श नहीं दी जाती है।
- ज्यादा डोज़ विपरीत प्रभाव ( effect ) पैदा कर सकता है।
- इस औषधि को सटीक ( exact ) मात्रा ( quantity ) में और सीमित अवधि ( समय ) के लिए, या डॉक्टर द्वारा परामर्श के अनुरूप ( accordingly ) लें।
- शिशुओं की पहुंच से दूर रखें।
- प्रेग्नेंट और स्तनपान ( breastfeeding ) कराने वाली मां को इस औषधि को लेने से पहले सलाह लेना चाहिए।