बदहजमी/अम्ल/गैस
कारण
- खा
- चिंता ( anxiety )
- लगातार व्रत
- मसालों से भरा आहार ( food ) का ज्यादा सेवन
- पीड़ा निरोधक एंटीबायोटिक्स ( antibiotics ) अम्लता ( खट्टापन ) का कारण बन सकते हैं
लक्षण
- ऊपरी आमाशय में आकुलता ( बेचैनी )
- आमाशय पीड़ा और परिपूर्णता की मनोवृत्ति
- उल्टी
- मतली के एपिसोड
- स्वेलिंग की अनुभूति
Name | हिमालय हिमकोसिड सस्पेंशन (मिंट ( mint )) (200 मिली) |
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Brand | हिमालय |
MRP | ₹ 105 |
Category | आयुर्वेद ( ayurveda ), औषधियां |
Sizes | 200 |
Prescription Required | No |
Length | 5.5 सेंटिमीटर |
Width | 5.5 सेंटिमीटर |
Height | 14 सेंटिमीटर |
Weight | 245 ग्राम |
Diseases | बदहजमी/अम्ल/गैस |
Form | सिरप |
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हिमकोसिड सस्पेंशन (मिंट ( mint )) के बारे में
Himcocid Suspension बिना किसी ज्ञात दुष्प्रभाव ( side effect ) के हाज़मा प्रॉब्लम्स के लिए हिमालय का एक आयुर्वेदिक सूत्रीकरण है।
गैस्ट्रोइंटेस्टाइनल ( gastrointestinal ) कठिनाई से आराम देता है: इसके अल्सर ( ulcer )-ट्रीटमेंट ( treatment ) और गैस्ट्रोप्रोटेक्टिव गुणों के कारण, हिमकोसिड में नेचुरल मूल तत्व अल्सर ( ulcer ) और गैस्ट्र्रिटिस का मुकाबला करते हैं। यह गैस्ट्रिक ( gastric ) एसिड को प्रभावहीन करता है, गैसीय फैलाव और पित्त और बदहजमी के लक्षणों से आराम देता है। हिमकोसिड सस्पेंशन शुगर-फ्री है और डायबिटीज और हाई ब्लड प्रेशर के पेशेन्ट्स ( patient ) में सुरक्षित है।
तीन स्वादिष्ट ( delicious ) स्वादों - पेपरमिंट, सौंफ और केला में सस्पेन्शन के रूप में उपलब्ध है।
इशारा:
- एसिड पेप्टिक बीमारी (एपीडी)
- गैर-अल्सर ( ulcer ) बदहजमी
- गैस्ट्रोओसोफेगल ( gastroesophageal ) रिफ्लक्स ( reflux ) बीमारी (जीईआरडी)
- आमाशय में दाह
- गैर-स्टेरायडल एन्टी भड़काऊ औषधि (एनएसएआईडी) -प्रेरित गैस्ट्रिटिस
घटक:
1. कौड़ी शैल राख (वारटिका): अपने एंटासिड और हाज़मा गुणों के लिए अच्छी तरह से जाना जाता है जो गैस्ट्र्रिटिस, हाइपरएसिडिटी, हृदय की हार्टबीट और डुओडेनाइटिस से आराम में सहायक होते हैं।
2. इंडियन आंवला (अमलकी): आमाशय में एसिड और पेप्सिन की मात्रा ( quantity ) को प्रभावशाली शैली से कम करता है। साथ ही, यह म्यूकिन, सेलुलर म्यूकस और गैस्ट्रिक ( gastric ) म्यूकोसल कोशिकाओं के जीवन काल को बढ़ाता है, जो आमाशय के अल्सर ( ulcer ) को ठीक करने में सहायता करता है। एक एंटीऑक्सीडेंट के रूप में, इंडियन आंवला गैस्ट्रिक ( gastric ) म्यूकोसा को ऑक्सीडेटिव नुक़सान से बचाता है।
मात्रा ( quantity ) बनाने की पद्धति
2 चम्मच ( spoon ) दिन में दो या तीन बार
एहतियात
1. शिशुओं की पहुंच से दूर रखें।
2. सूखी ठंडी जगह पर स्टोर ( store ) करें
3. प्रेग्नेंसी ( pregnency ) और स्तनपान ( breastfeeding ) के केस में डॉक्टर से सलाह अवश्य लें