Name | Baidyanath Mayur Chandrika Bhasma (5g) |
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Other Names | मयूर पिचा भस्म |
Brand | Baidyanath |
MRP | ₹ 169 |
Category | आयुर्वेद ( ayurveda ), Bhasm & Pishti |
Sizes | 5जी |
Prescription Required | No |
Length | 2.8 सेंटिमीटर |
Width | 2.8 सेंटिमीटर |
Height | 5.9 सेंटिमीटर |
Weight | 31 ग्राम |
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बैद्यनाथ मयूर चंद्रिका भस्म (मयूर पिचा भस्म) के बारे में
मयूर चंद्रिका भस्म एक शास्त्रीय आयुर्वेदिक औषधि है, जिसमें एंटीमैटिक और एंटीस्पास्मोडिक गुण होते हैं। मयूर चंद्रिका भस्म का सबसे साधारण इशारा उल्टी और मतली है। यह हिचकी, कफ और दमा में भी लाभकारी होता है।
Ingredients (Composition) of Baidyanath Mayur Chandrika Bhasma
मोर पंख
मयूर चंद्रिका भस्म मोर पंख से तैयार की जाती है। मोर पंख में मेलेनिन वर्णक होता है, जो उन्हें भूरा कलर देता है। मोर की विशेषता में चमकीले कलर इसकी अंतर्निहित संरचना के कारण होते हैं, जिसमें अनेक स्मॉल छेद होते हैं। इन छिद्रों को एक षट्कोणीय पैटर्न में व्यवस्थित किया जाता है। इस संरचना के साधन से प्रकाश का परावर्तन लाल, नीला, हरा आदि के साथ भिन्न-भिन्न रंगों की धारणा देता है।
मोर पंख लेकर गाय के घी (क्लेरिफाइड बटर) से जलाए जाते हैं। मोर पंख को जलाने के बाद प्राप्त राख को मयूर चंद्रिका भस्म या मयूर पिच भस्म के रूप में जाना जाता है। भस्म बनाने के लिए आमतौर पर रंगीन मध्य भाग लिया जाता है।
मेडिसिनल गुण
मयूर चंद्रिका भस्म की चार विशेषताएं हैं
- वमनरोधी
- हिचकी सप्रेसेंट
- माइल्ड एंटीट्यूसिव
- हल्का ब्रोन्कोडायलेटरी
इलाज इशारा
मयूर चंद्रिका भस्म के दो प्रमुख इशारा हैं।
- उल्टी मतली
- हिचकी
- दमा
फायदा और मेडिसिनल इस्तेमाल
मयूर चंद्रिका भस्म आयुर्वेद ( ayurveda ) में उल्टी और मतली के लिए पसंद की औषधि है। यह हिचकी को भी दबाता है।
उल्टी मतली
मयूर चंद्रिका भस्म में वमनरोधी क्रिया होती है। यह निम्नलिखित हर्बल संयोजनों में प्रभावशाली है:
- मयूर चंद्रिका भस्म-250 मिलीग्राम ( mg )
- कपूर कचरी-500mg
- Jahar Mohra Pishti-250mg
- दो बार डेली मधु ( honey ) के साथ
यदि मतली खट्टी ( sour ) हो और दाह के साथ बाहर आए, तो निम्नलिखित सम्मिश्रण अच्छा काम करता है:
- मयूर चंद्रिका भस्म-250 मिलीग्राम ( mg )
- Jahar Mohra Pishti-250mg
- Praval Pishti-250mg
- Mukta Shukti Pishti-250mg
- Kapardak Bhasma-125mg
- दो बार डेली मधु ( honey ) के साथ
हिचकी
मयूर चंद्रिका भस्म में हिचकी दबाने वाली क्रिया है। यद्यपि, हमने पाया कि अगर अकेले उपयोग किया जाए तो इसके बढ़िया नतीजा नहीं होते हैं। यह निम्नलिखित सम्मिश्रण में अच्छा काम करता है
- मयूर चंद्रिका भस्म-250 मिलीग्राम ( mg )
- Jahar Mohra Pishti-250mg
- पवित्र अंजीर फिकस रिलिजियोसा-पीपल के पेड़ की छाल राख-250mg
- Pippali (Long Pepper)–Piper Longum-125mg
- दो बार डेली मधु ( honey ) के साथ
दमा
मयूर चंद्रिका भस्म को पुष्करमूल और पिप्पली चूर्ण के साथ दमा और सांस लेने में कष्ट के प्रबंधन के लिए उपयोग किया जाता है। इसका उपयोग निम्न तरह से किया जा सकता है।
- मयूर चंद्रिका भस्म-250 मिलीग्राम ( mg )
- पुष्करमूल-इनुला रेसमोसा-250mg
- Pippali Churna-500mg
- मधु ( honey )-1 छोटा चम्मच ( spoon )
डोज़ और प्रशासन
मयूर चंद्रिका भस्म की साधारण डोज़ इस तरह है।
- बच्चे-30 से 60 मिलीग्राम ( mg )
- बच्चे -60 से 125 मिलीग्राम ( mg )
- वयस्क-125 से 250 मिलीग्राम ( mg )
- प्रेग्नेंसी ( pregnency )-125 से 250mg
- जराचिकित्सा (वृद्धावस्था)-125 से 250 मिलीग्राम ( mg )
- ज़्यादा से ज़्यादा मुमकिन डोज़ (प्रति दिन या 24 घंटे में) -1000 मिलीग्राम ( mg ) (खंडित डोज़ में)
एहतियात
यह औषधि केवल सख्त औषधीय निगरानी में ही ली जानी चाहिए।
इस औषधि के साथ स्व-औषधि जोखिमभरा साबित हो सकती है।
ओवरडोज से संजीदा दुष्प्रभाव ( side effect ) हो सकते हैं।
प्रेग्नेंसी ( pregnency ), स्तनपान ( breastfeeding ) और शिशुओं में इसका बहुत एहतियात से इस्तेमाल किया जाना चाहिए, केवल तभी जब अवधारित डॉक्टर द्वारा बहुत अनिवार्य पाया गया हो।
इस औषधि को चिकित्सक की परामर्श के अनुरूप ( accordingly ) सटीक ( exact ) मात्रा ( quantity ) में और सीमित अवधि ( समय ) के लिए ही लें।